• Jobs and Career
  • Government Service
    • Sarkari Naukri | सरकारी नौकरी
    • Sarkari Yojana | सरकारी योजना
    • Government Jobs | Govt Jobs | Latest Govt Jobs
  • Earn Money
  • GK – General Knowledge
    • इतिहास
    • प्रश्न उत्तर
    • IAS Interview Questions
    • Full Form
  • Documents
    • आधार कार्ड
    • PF – EPF – UAN
    • पैन कार्ड
    • राशन कार्ड
    • वोटर आईडी कार्ड
  • Tips and Tricks
    • बैंकिंग टिप्स
    • कंप्यूटर टिप्स
    • मोबाइल टिप्स
    • एजुकेशनल टिप्स
    • फेसबुक टिप्स
    • सिक्यूरिटी टिप्स
    • हेल्थ टिप्स
    • व्हाट्सएप्प टिप्स
    • जीमेल टिप्स
  • More
    • ज्योतिष
      • कुंडली दोष
      • राशिफल
        • राशि की जानकारी
        • लड़कियों के नाम
        • लड़को के नाम
    • Interesting Facts
    • Event
    • Movies
    • सवाल जवाब
    • मोटिवेशनल
      • लव स्टोरीज
      • कहानियां
    • जीवनी, रोचक बाते
    • रैम – मेमोरी कार्ड – पेनड्राइव
    • शायरी – स्टेटस – जोक्स – सुविचार

Abletricks.Com

Tips And Tricks

पृथ्वी पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई | Manav Ki Utpatti Kaise Hui In Hindi

by Tricks King 40 Comments

Join Telegram Channel

क्या आप जानते है पृथ्वी पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई? क्या आप जानते है मानव जीवन कैसे शुरू हुआ है? Manav Ki Utpatti Kaise Hui In Hindi

History of human life in Hindi

पृथ्वी पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई? किसके द्वारे हुई मानव की उत्पत्ति? मानव उत्पत्ति का क्या है राज? क्या कहता है विज्ञान मानव उत्पत्ति के बारे में जानिये यहां।

आज हम इस आर्टिकल में मनुष्य की उत्पति कैसे हुई है इसके बारे में रहष्यमय जानकारी जानने वाले है। धरती पर मानव जीवन की उत्पत्ति कैसे हुई, मनुष्य जीवन की उत्पत्ति कब हुई, मनुष्य रचना कैसे हुई, मनुष्य कैसे बना, मानव जीवन का इतिहास, History of human life in Hindi.

 

Table of Contents

  • धरती पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई (Manav Ki Utpatti Kaise Hui In Hindi)
        • निवेदन है कि-
        • ये आर्टिकल भी जरुर पढ़े

धरती पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई (Manav Ki Utpatti Kaise Hui In Hindi)

विज्ञानं तथा वैज्ञानिकों के इतने प्रयासों के बाद भी पृथ्वी पर मनुष्य जीवन की उत्पत्ति कैसे हुई इसका अभी तक कोई सटीक प्रमाण नहीं दे पाया है। यह अभी तक एक रहस्यमय पहेली ही रही है। लेकिन सदियों से पृथ्वी पर 2 मत चलते आ रहे है. पहला- धार्मिक और दूसरा- वैज्ञानिक। लेकिन दोनों के मतों द्वारे अभी तक इस अनसुलझी पहेली कोई सटीक प्रमाण नहीं मिला है।

विज्ञानं वैज्ञानिकों के इतने तरक्की के बावजूद यह खोज नहीं कर पाई की मनुष्य जीवन की उत्पत्ति कैसे हुई? धार्मिक किताबे तथा धार्मिक मान्यताओ के अनुसार बताया गया है कि, भगवान ब्रम्हा ही इस पूरी सृष्टि का रचयिता है। भगवान ब्रम्हा ने ही मनुष्य की उत्पत्ति की है, लेकिन विज्ञान इसे बिल्कुल भी नहीं मानता है। विज्ञानं का कहना है पृथ्वी के सभी प्राणी विकास की प्राकृतिक प्रक्रिया है।

उदहारण के तौर पर, मनुष्य वानर से लेकर मनुष्य होने तक विभिन्न अवस्थाओं से गुजरते हुए, अनगिनत बदलाव के साथ मनुष्य रूप में विकसित हुवा है। दिनों दिन मनुष्य में बदलाव होते जा रहा है, मनुष्य विकशित हो रहा है, यह सब एक प्राकृतिक प्रक्रिया है।

जानकारी के अनुसार विज्ञानं तथा धार्मिक मान्यताओं ने पृथ्वी पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई, इस बारे में कोई ठोस प्रमाण नहीं दिया है. इसलिए कई लोग भगवान ने मनुष्य की रचना की है कहते है तो कोई भगवान को बिल्कुल भी नहीं मानते, उनका कहना है पृथ्वी पर सभी जिवो की उत्पत्ति एक प्राकृतिक प्रक्रिया है, उसमे शामिल मनुष्य भी है। इसलिए यह एक रह्ष्यमय और अनसुलझी कहानी बन गई है और इस कहानी को अभी तक कोई सुलझा नहीं पाया है.

 

निवेदन है कि-

अगर उपरोक्त जानकारी से जुडी आपके पास कोई भी ठोस जानकारी हो तो हमें जरूर बताये तथा आपके अनुसार धार्मिक मान्यताओं को तथा वैज्ञानिकों के विचारों में से किसे ज्यादा महत्व देना चाहिए, यह हमें कमेंट करके जरूर बताये।

 

ये आर्टिकल भी जरुर पढ़े

➨ दुनिया में आने वाला पहला मानव कौन है

➨ पृथ्वी पर मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई 

➨ सूर्य के बारे में रोचक तथा महत्वपूर्ण बाते

➨ मंगल ग्रह के बारे कुछ ऐसी बाते जो शायद आप नहीं जानते

➨ नरेंद्र मोदी जी के बारे में कुछ रोचक बाते

➨ ब्रूस ली के बारे कुछ रोचक बाते

➨ महात्मा गाँधी का जीवन परिचय

➨ शिवाजी महाराज का जीवन परिचय

➨ अब्दुल कलाम जी का जीवन परिचय

➨ झांसी की रानी जीवन परिचय

➨ एलियन के बारे मे कुछ रोचक तथ्य 

➨ भारत के बारे में कुछ रोचक बाते

➨ चाँद के बारे में रोचक बाते

Share this:

  • Tweet
  • Telegram
  • WhatsApp

Filed Under: जीवनी, रोचक बाते

Subscribe to Blog via Email

Enter your email address to receive notifications of new posts from this blog.

Comments

  1. Ram kumar says

    at

    Iska tos sbut mere pas surashit hai

    Reply
    • Tricks King says

      at

      जी आप अपना जवाब यहाँ दे सकते हो..

      Reply
      • Danish says

        at

        Duniya ka sabse acca dharm sirf insaniyat hai isse badkar koi dharm samjh nahi aaya or Mai Muslim hu or mere dharm Mai bhi insaniyat hi sikhai jaati hai or apne padosi ka khaas dheyan rakhna cahe boh kisi bhi cast see ho

        Reply
      • Anupam manav says

        at

        Promise to give 5 crore rupees, I will explain the whole Space scientific mthod, be it animal or human. Anupam Manav has taught scientific science to NASA space scientists for 9 years. Proved all my scientific discoveries in NASA, but I did not take a single rupee after getting the scientific discoveries proved by NASA. Now I have proof of all scientific discoveries. Type in Google – Manav NASA Chief.

        5 करोड़ रुपये देने का वादा, मैं पूरी अंतरिक्ष वैज्ञानिक पद्धति समझाऊंगा, चाहे वह जानवर हो या इंसान। अनुपम मानव ने नासा के अंतरिक्ष वैज्ञानिकों को 9 साल तक वैज्ञानिक विज्ञान पढ़ाया है। नासा में अपनी सारी वैज्ञानिक खोजों को सिद्ध किया, लेकिन नासा द्वारा वैज्ञानिक खोजों को सिद्ध करने के बाद मैंने एक रुपया भी नहीं लिया। अब मेरे पास सभी वैज्ञानिक खोजों का प्रमाण है। Google में टाइप करें – मानव नासा प्रमुख.

        Reply
    • Rahul jha says

      at

      JI agar aapke paas sabut h toh kirpya wo sabut ke baare me hme btaye kaha h wo sabut ya fr hme wo sabut ki hme uski reqiremet h mere teacher se aaj disscus hui h

      Reply
  2. Bharatraj byadav says

    at

    मनुष्य की उत्पत्ति स्त्री और पुरुष के संयोग से हुआ है। मनुष्य और सभी प्राणी एक जैविक प्रक्रियाओं के द्वारा उत्पन्न हुए हैं। ये कोई नीर्जीव वस्तु थोड़े ही हैं कि किसी के द्वारा आविष्कृत किया गया है। धार्मिक लोग श्रद्धावश अपने काल्पनिक इष्ट को मनुष्य का रचयिता साबित करने में लगे हैं, वैज्ञानिक लोग रासायनिक क्रिया को समझने में लगे हैं दोनों एक-दूसरे को तर्क और मर्म द्वारा समझाने में लगे हुए हैं। लेकिन एक दूसरे के विरोधाभासी ही बने हैं। अरे भाई हमे तो इतना ही जान लेना आवश्यक है कि हम तो अपने माता-पिता द्वारा जन्में हैं और पाल पोसकर बड़े हुए हैं। और समाज द्वारा सहयोग और ज्ञान अर्जित किए हैं। तथा अन्य प्राणीयों व वनस्पतियों द्वारा हमारा भरण पोषण होता है।
    अतः हम सबको आपस में मिल जुलकर खुशहाल रहना चाहिए। ऐसा कृत्य करना चाहिए जिससे खुद का, प्रकृति का, समाज का भला होना चाहिए और सब में खुशहाली होना चाहिए।
    कुछ बातें ऐसी होती हैं कि जिसके बारे में जानकारी न हो तो भी ठीक ही है। जैसे हम जानते हैं कि हम माता पिता के द्वारा उत्पन्न हुए हैं लेकिन कभी मां बाप से नहीं पुछते है कि हमें कैसे पैदा किए हो। वैसे ही मानव की की उत्पत्ति के बारे में जानकारी से अच्छा है मानव खुश कैसे रहे इसके बारे में सोचने की जरूरत है।

    Reply
    • Tricks King says

      at

      BharatRaj जी आपने काफी अच्छे से समझाए है.. आपका लिखाण भी एक लेखक की तरह है. अगर आप अपने लेख ऑनलाइन करना चाहते हो तो हमें जरुर बताइयेगा.

      Reply
    • Sanoj Kumar Singh says

      at

      Bahut achhi Kahi hai aap ne or jis manus ko giyan nhi hai to wah whi kahega jo dusro ne kha hai aap ke pas dimag hai aap sahi or galt samjh sakte hai agar aap dimag se sahi socha to aap ke sath sahi hogi agar aap ne aapne dimag se galt socha to wah galt hi hogi yhi sansar ka niyma hai

      Reply
    • Ashraf says

      at

      Manu aur Ismriti ki utpatti kaise hui

      Reply
  3. FB WHATSAPP STATUS says

    at

    VERY NICE ARTICLE.

    Reply
  4. शिवम says

    at

    अगर मनुष्य लगातार हौ रहै परिवर्तन सै विकसित ईकाई है तौ अभी तक मनुष्य कै आगै कौई परिवर्तन दैखनै कौ क्यौ नहीं मिला क्योंकि वानर सै बदलकर मनुष्य बननै कि प्रकिया कौ काफी समय हौ गया है अब और कुछ क्यों नहीं बन रहा है मानव

    Reply
    • पूजा त्रिपाठी says

      at

      परिवर्तन तो हो रहा है शिवम् जी. लेकिन खुद में परिवर्तन करने की बजाय मनुष्य टेक्नोलॉजी में परिवर्तन कर रहा है. अब शायद इंसान में परिवर्तन होने लायक कुछ बचा ही नही है.

      Reply
  5. Chand khan says

    at

    मानव जाति की उत्पत्ति एक काल्पनिक है मेने इसके बारे में बहुत। गहरी से अध्ययन क्या तो पता चला कि पहले पृथ्वी पे पेड़ पोधा और जानवर रहता था कुछ समय बाद पृथ्वी पे भूकम आने के कारण पूरा पृथ्वी के सारे जीव जन्तु और पेड़ पोधा नष्ट हो गया लेकिन एक ही जन्तु जो पृथ्वी पर ज़िंदा रह गया था उसका कारण ये है की ओ ज़मीन के 15 फ़िट अंदर रहता था इसलिए ओ जन्तु बच गया था उस जन्तु का नाम है चूहा ।कुछ दिन के बाद चूहा के पास खाने का कुछ नहि बचा तो ओ बाहर आने कुछ खाने के लिए और देखा कि सब कुछ नष्ट हो गया तो उसने अपना पेट पालने के लिए फल पत्ती खाने लगा और धीरे धीरे उसकी लम्बाई के हिसाब से सब ख़त्म हो गया तो वह भूखा रहने लगा तो उसने खड़ा होने के प्रयास से अपना पेट पालने लगा अब उसकी आदत सी हो गया खड़ा होने का और उससे जो पैदा हुआ तो अपने पूर्वज को देखा और उसमें ही ढलने लगा और बंदर का रूप धारण कर लिया धीरे धीरे बंदर भी अपना पेट पालने के लिए समे प्रयास किया जो की मानव जाती का उत्पत्ति हुआ ।

    Reply
    • अपूर्वा तिवारी says

      at

      आपके कहने का मतलब मनुष्य पहले चुहां था क्या ? ऐसा कोई नहीं मानेगा. चलो आपने जो अध्ययन किया हम उसकी क़द्र करते है..

      हमें ये समझ में नहीं आ रहा है की विज्ञान इतनी तरक्की कर रही है लेकिन उसके पास भी “मनुष्य की उत्पत्ति कैसे हुई” इस बारे में कोई ठोस प्रमाण नहीं है.. हम लोग सिर्फ अंदाजा लगा सकते है..

      Reply
  6. SANDEEP says

    at

    Har cheez mitti panni vayu sa bni ha HUm bhi pair podha ki trah dharti sa jura hua phal ki trah hua ha kb kesa ku wo nahi janta mgr humari nikasi bhi pair podho ki tra hi hui hr jeev ki Feeling smjho lease ki jindgi mili ha khush Raho jeev hatya bnd Krdo

    Reply
    • Kavita Tripathi says

      at

      Sahi bat hai.

      Reply
  7. Prahlad Kumar Ahirwar says

    at

    मनुष्य कि ूउत्पत्ति केसे हुई कब हुई कहाँ हुई इन सब बातों को छोड़कर अगर आज के बारे में सोचे तो अपने आप को मनुष्य कहने में शर्म महसूस होती है।
    कही धर्म के नाम पर दंगे कही जाति के नाम पर दंगे
    प्रकृति की सबसे खूबसूरत रचना हैं इन्सान लेकिन प्रकृति को भी शर्म महसूस होती होगी इन्सान की रचना करके। क्योंकि जानवरों से भी बुरा व्यवहार कर रहें हैं एक दूसरे से

    Reply
    • Kavita Tripathi says

      at

      Sahi kahe Prahlad ji, Insaan insaniyat bhoolte ja rahe hai.

      Reply
      • Ravi Vadhwana says

        at

        Ji esa hone ka karan keval hamara paschimikaran ki or badhna hi h
        Hme vapis apni sanskirti ki or badhna hoga fir se vedo ki or badhna hoga

        Reply
    • Ravi Vadhwana says

      at

      Aap ved padhiye svi prashno k uttar mil jayege

      Reply
  8. Krishan says

    at

    जहां तक मेरा मानना है मनुष्य की उत्पत्ति के बारे में वैज्ञानिक तथ्य मानना बिल्कुल सही होगा क्योंकि अगर हम धार्मिक मान्यताओं के अनुसार मानव की उत्पत्ति को मानते हैं तो बिल्कुल गलत है क्योंकि यह तो आप भी जानते हैं कि अगर मनुष्य की उत्पत्ति ब्रह्मा के द्वारा हुई है तो इन सभी को भारत देश में ही क्यों मानते आ रहे हैं अन्य देशों में क्यों इनको कोई नहीं जानता अगर मानव की उत्पत्ति सच में ब्रह्मा के द्वारा हुई है तो संपूर्ण विश्व में ब्रह्मा की पूजा होनी चाहिए

    Reply
  9. Ravi Vadhwana says

    at

    Bhaiji manusya ki utpatti se lekar pratyek sajiv k bare me kb or kese utpann hue ye jankari hme ishwar ne vedo me pehke se hi de di h or ved kisi hindu dharma ka nai apitu pratyek manusya k liye h aap padhiye or agr aap satyarth prakash padhoge to usme 3 sammulaas h jisme iska varnan kiya gaya h
    Jisse vigyan v ab man ne laga h
    Or ha manusya kisi bandar me se nai bana h jo prachin me tha vesa hi avi h thoda bahot fark h pr bandar nai
    Age kisi v prasna ka uttar aap ko ved me se mil jayega

    Reply
  10. अनुराधा गौतम says

    at

    मुजे विज्ञान पे पूरा भरोसा है, विज्ञान कभी गलत नहीं बतायेगा. मै इस जन्म के भगवान माँ-बाप को ही मानती हु.

    Reply
    • Chunnilalgameti67@gamil.com says

      at

      मे मानता हू की हमारे तो भगवान माँ बाप ही है पर हमे भूतकाल मे जाक कर देखना चाहिए कि वह कोन था जिसने हमारे पूर्वजोकोबनाया और विज्ञान इतनी तरक्की कर ली तो मनुष्य का जीवन बचाने मे नाकाम क्यों ओर क्यो ईस परम सत्य सास को रोक नही पाता

      Reply
  11. संजय says

    at

    भाई मेरा तो मानना है कि भारत की इस धरती पर जो भी धार्मिक हिन्दू की महाभारत रामायण गीता सभी किसी ऐसे मनुष्य के द्वारा लिखत है जिसको इन पुराणों से कोई फायदा हुआ है क्योंकि आज का युग विज्ञान का युग है जिस बात को विज्ञान साबित नही कर पाया कि मनुष्य की उत्पती कैसे हुए ।।उसमे हमारा ज्ञान कुछ भी नही है धार्मिक लोग जो धर्म का धंधा चला रहे है वो कहते है कि ब्रह्मा ने इस श्रष्टि की रचना की ।।चलो मान लिया कि उसने की ।।फिर उसने चार वर्ण बनाये ब्राह्मण क्षत्रिय वैश्य और शूद्र ।।ये कैसे हो सकता है कि ब्राह्म द्वारा जिन चार वर्णों को पैदा किया है तो फिर इस दुनिया मे 200 से ज्यादा देश है उन देशो के लोगो को किसने बनाया क्या उनको पैदा करने वाला भगवान अलग है ।।तो ऐसा नही हो सकता ।।क्योंकि ब्रह्मा ने इस श्रष्टि की मतलब पूरे ब्रह्मांड संसार विश्व की उत्पत्ति की है तो उन विदेशी लोगो को भी ब्रह्मा ने ही बनाया होगा ।।यदि ये बात सही है तो फिर इस ब्रह्मा को विदेशो में क्यों नही पहचानते लोग ।।।सभी देवताओं ने सिर्फ और सिर्फ भारत मे ही जन्म क्यों लिया विदेशो में क्यों नही गए वो सिर्फ भारत तक ही क्यों सिमीत क्यों रहे ।।ये सोचने वाली बात है दोस्तों क्योंकि हमे धर्म के नाम पर बेवकूफ बनाया जा रहा है भगवान का डर इतना फेला रखा है कि इंसान बिना ब्राह्मण के पूछे कोई काम नही करता जैसे ब्राह्मण को देवी देवताओं की पूजा पाठ का ठेका दे रखा हो ।।।यहाँ कुछ भी ऐसा नही हुआ है नही किसी भगवान ने जन्म नही लिया ये सब पुराने इतिहास से जुड़ी हुई जगहों ओर इंसानो के नाम बदलकर उन्हें भगवान का नाम दे दिया ।।और कुछ नही है यदि भगवान होता तो वो कभी वर्ण व्यवस्था नही बनाता अपनी ही बनाई हुई मानव जाति को कभी नही बाटता ।।यह सब एक स्वार्थी इंसान द्वारा रचित कहानिया है और कुछ नही ।।।भगवान होता तो उसे पूरी दुनिया जानती नकी एक सीमित क्षेत्र में ही उसकी भक्ति भाव की उसकी कहानिया का प्रचार प्रसार होता ।।इसलिए मेरा मानना है कि धरती पर भगवान नही था और नही है ।।ये सब एक प्राकृतिक रचना है जो निरंतर चलने वाली एक प्रक्रिया है ।।।इसलिए में नही मानता कि भगवान है ।।।।नही है और नही था ।।।।।

    Reply
    • Anurag Pande says

      at

      इस युग के भगवान हमारे माँ-बाप ही है, वैसे संजय जी मै आपके बातों से पूरी तरह सहमत हु. भगवान के नाम पर ये पंडित लोग हमें लुट रहे है, भगवान के नाम पर तरह तरह की पूजापाठ करवाते है, ये सब Wrong Number है. इससे कुछ होनेवाला नहीं है.

      Reply
    • Chunnilalgameti67@gamil.com says

      at

      अपने शरीर मे जाक के देखो कि वो कोने हे जिसके जाने के बाद मनुष्य मुर्दा कहलाता है चाह कर भी उसे नही रोक पाता वही परम सत्य है ओर वही परमात्मा ओर वही भगवान भी है

      Reply
      • Anurag Pande says

        at

        भगवान है लेकिन सिर्फ हमारे माँ-बाप ही है. दुसरे कोई नहीं. जन्म -मृत्यु एक प्राकृतिक रचना है.

        Reply
  12. More Information and facts says

    at

    Its like you read my mind! You appear to know a lot about this, like you wrote the book in it or something. I think that you can do with some pics to drive the message home a bit, but instead of that, this is wonderful blog. A great read. I’ll definitely be back.

    Reply
  13. Rajendarkumarsharma says

    at

    Ko.akk.sakty.ha.ko.pura.barmand.ko.handle.karta.ha.joalga.alga.nama.sa janta.ha useesakthe.ka.namedas.ka.anusar.ha

    Reply
  14. Rohit Rajput says

    at

    लोगों का मानना है कि चार युग है सतयुग त्रेता द्वापर कलयुग तो मेरा यह मानना है की मनुष्य की उत्पत्ति सतयुग में ही हो चुकी थी और फिर धीरे-धीरे कालों में उन्नति हुई और साथ साथ में हलचल भी हुई जिससे मानव में बदलाव हुए और सबने अपना अपना और अपने अपने तरीके से शासन चलाया फिर भू उत्तल पुथल हुई और पिछले तीनों युगों के मनुष्य मर गए होंगे और फिर नए युग की शुरुआत प्राकृतिक तरीके से नए जीव जंतुओं से हुई । जिससे धीरे-धीरे मनुष्य रूप आया।और विष्णु,राम,कृष्ण ने अपना शासन अपने तौर तरीके से चलाया और आज का मानव अपना शासन अपने तौर-तरीके से चला रहा है इसलिए मनुष्य की उत्पत्ति प्राकृतिक क्रियाओं से हुई है।।

    Reply
    • Rohit Rajput says

      at

      और हम उन्हें पूजते और मानते इसलिए हैं कि वह हमारे पूर्वज हैं और हमें अपने सभी पूर्वजों का सम्मान करना चाहिए।।।।

      Reply
      • Vishakha Dube says

        at

        Bhai sahab duniya me aise bhi log hai, apne purjo ko pujne ki bajay kisi aaba baba ki puja path karte hai. iski-uski sewa pakdte hai, puja path karte hai lekin apne ma-bap ki sewa apne purvjo ki sewa nahi karte hai. unko apne logo mki sewa karne me pareshani hoti hai, aur unhe kisi aaba baba ki sewa karne me unhe maja aata hai, kya log hai?

        Reply
    • DINESH KUMAR says

      at

      आज का मानव अपने तौर तरीके से साशन चला रहा है तो फिर बो भी भगबान हुआ आपके मुताबिक

      Reply
      • Ishani Gupta says

        at

        ऐसा किसने कहा सर, मनुष्य जैसा पापी प्राणी नहीं इस दुनिया में ही नहीं है. मनुष्य मतलब के लिए जीते है. मनुष्य कैसे भगवान हो सकता है? मनुष्य कितना भी तरक्की क्यों ना करले , अपनी गन्दी आदतों के वजह से वो कभी इंसान कहलाने के लायक ही नहीं है.

        Reply
  15. कौशल बौद्ध says

    at

    आप लोग कह रहे हैं की मनुष्य में कोई परिवर्तन नहीं हुआ मनुष्य में परिवर्तन हुआ है मनुष्य का जन्म को ईश्वर द्वारा नहीं हुआ है क्या प्रकृति के नियमानुसार हुआ है जिस प्रकार से डायनासोर विलुप्त हो गए और वह प्रजात नष्ट हो गई और मनुष्य का विकास आपके कहने से मेरे विचार में यह है कि पहले मनुष्य यानी कि हमारे जो दादा-दादी थे वह पहले फावड़े से या फिर नुकीले हल और जानवरों से खेती करते थे और पहले मनुष्य की लंबाई भी काफी बड़ी थी और उसकी उम्र उम्र भी इस समय के मनुष्य से ज्यादा थी वैसे तो दोगुने थी मनुष्य काफी लंबा-चौड़ा था और उसके रहन-सहन तथा उसके विचार अलग थे आज के युग में मनुष्य ने वैज्ञानिक युग में कदम रखा है इसमें वह मशीनों यंत्रों द्वारा किसानी आने जाने के लिए विभिन्न प्रकार की इलेक्ट्रॉनिक मशीने मशीनों का प्रयोग करता है तो इसी प्रकार से पहले भी मनुष्य जैसा कि पुरातत्व की खोज में भी निकला है कि मनुष्य पहले आदिमानव था जो बंदर की प्रजाति के हिसाब से देखता था धीरे-धीरे उसने चलना फिर खाना यानी कि उसमें परिवर्तन धीरे-धीरे ही हुआ आज हो परिवर्तन चलता आ रहा है इससे यही तथ्य निकलकर आया की मनुष्य की उत्पत्ति पृथ्वी पर ईश्वर के द्वारा नहीं बल्कि एक प्रकृति के द्वारा हुई

    Reply
    • Harsh Sonwane says

      at

      जी सही कहां, मनुष्य की उत्पती प्राकृतिक प्रक्रिया है.

      Reply
  16. Mooda Pavan says

    at

    भगवान हे या नहीं भगवान सब्द तो है .ना दोस्तो simple tips कोइ माँँ बाप को ही भगवान मानते हे
    मानना भी चाहीय क्यु की हम माँ बाप कि ही.तो देन है
    ओर दोस्तो भगवानका दुसरा नाम डक्टर को भी तो मान्ते हे । लोग विज्ञान पर भरोसा करते है पर भगवान पर नही । आप सब लोगो को मालुम होना चाहीय इनसान ही एक ऐसा प्राणी हे जो दुसरे जीव से अधीक अक्कलमन्द हे । simply जब एक वैज्ञानिक प्रकृति कि देन एक वस्तु की खोज करके उस वस्तु के वारेमे अनुसन्धान करके उसका टेस्ट करके उपयोग करनेके वाद अच्छी बुरी की जानकारी देता हे वो इनसान जो अपने आपको वैज्ञानिक या विज्ञान समझता या बोलता हे
    वोहि ईनसान भगवान सब्द ढुडकर उस सब्द की अराधना भी करता हे पर फिर भी भगवान को ढुड नही पाया ।। दोस्तो जब भगान शब्द को मानते हे तो भगवान को भी मानना चाहीय ना ।। भगवान हे इसिलीय
    तो परिवर्तन हो रहा हे सँनसार। परिवर्तनसील को आजका विज्ञान भी नही रोक सकता ।। भलेही भगवान नाम. अलग अलग नाम -काम -रुप- र्ँग से परिचित हो ।।

    Reply
  17. सतीशयादव says

    at

    आदिमानव से इंसान की उत्पत्ति हुई है जिन्होंने अपने दिमाग़ को विकसित कर-कर कर विकास की प्रक्रिया प्रारंभ की थी और जैसे – जैसे आगे बढ़े आज परिणाम आपके सामने है।
    धार्मिक मान्यताएँ सिर्फ़ और सिर्फ़ काल्पनिक कहानियाँ हैं जिनका कोई मतलब नहीं है इस विषय में जितने तर्क वितर्क होते हैं सब एक झूठ को छुपाने के लिए सौ झूठ बोलने के समान है।
    सत्य सिर्फ़ यथार्थ में है जो कि आपके सामने है ग़र धार्मिक मान्यताओं के अनुसार मनुष्य की उत्पत्ति हुई होती तो सब कुछ पहले से ही ज्यों का त्यों होता विकास की आवश्यकता नहीं होती स्वयं भगवानों के पास भी बड़ी – बड़ी गाड़ियाँ होती जानवरों की सवारी नहीं करते न ही उनके वाहन पशु पक्षी होते।
    यह मेरा मानना है जो सर्वत्र सत्य है।
    साहित्यकार ©सतीशयादव “अभी-अभी”

    Reply
  18. Vishal Maurya says

    at

    हिन्दू मान्यताओं के अनुसार हमारे संसार को ईश्वर ने ही बनाया है। लेकिन एक युग के बाद किस तरह से मनुष्य जाति का जन्म हुआ और कैसे इस जाति ने धरती पर अपने रहन-सहन का तरीका बनाया यह एक अहम सवाल है। हिन्दू धर्म के अनुसार संसार में सबसे पहले जन्म लेने वाला मनुष्य ‘मनु’ था। मनु या फिर पश्चिमी सभ्यता के अनुसार ‘एडेम’ इस दुनिया में आने वाला पहला मानव था जिसके बाद ही मनुष्य जाति का आरंभ हुआ। एक पौराणिक कथा के अनुसार मानव संसार की रचना के लिए भगवान ब्रह्मा द्वारा दो लोगों को बनाया गया था, एक पुरुष और एक स्त्री। मानव संसार को आगे बढ़ाने के लिए ब्रह्मा के लिए यह जरूरी था कि वे पुरुष के साथ स्त्री की भी रचना करें।

    Reply

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Search Here

...

Categories

Contact us

About us

Privacy policy

Please do not share any of your personal information on this website. Such as bank related information, Aadhaar number, PAN number, mobile number, etc.

Subscribe to Blog via Email

Enter your email address to receive notifications of new posts from this blog.

If you find anything wrong on this website, then you tell us through the comment, we will try to correct it as soon as possible.

Copyright © 2016-2023 Abletricks.Com - All Rights Reserved