चुंबक बन गया है इस आदमी का शरीर, मनुष्य बना चुंबक, मैग्नेट बना शरीर, शरीर में चुंबकीय शक्ति कैसे आती है, जानिए इन सवालों के जवाब :

Chumbak ban gaya is Aadmi ka Sharir

चुंबक बन गया है इस आदमी का शरीर, मनुष्य बना चुंबक, जानिये कैसे?

किसी मनुष्य का शरीर चुबंक भी बन सकता है, इसकी कल्पना आपने कभी नहीं की होगी, लेकिन हाल ही में एक ऐसा मामला सामने आया है. बहुत से लोग इस बात पर भरोसा तो नहीं करेंगे, लेकिन यह बिल्कुल सच है.

हाल ही में एक व्यक्ति के शरीर में अचानक चुंबकीय शक्ति पैदा हो गई, जिसके वजह से अब उसके शरीर पर स्टील के चीजे बड़ी ही आसानी के साथ चिपक रहे हैं, बिल्कुल वैसे ही जैसे कोई चुंबक लोहे की चीजों से चिपक जाता है.

यह मामला महाराष्ट्र के नासिक का है, और जिनके शरीर में चुंबकीय शक्ति पैदा हुई है उनका नाम ‘अरविंद सोनार’ है. लेकिन अरविंद सोनार जी का चौंकाने वाला दावा किसी को रास नहीं आ रहा है.

आइए आगे जानते हैं अरविंद सोनार जी के चौंकाने वाले दावे और मानव शरीर में चुंबकीय शक्ति का आना संभव है या नहीं, इस बारे में आवश्यक जानकारी.

 

अरविंद सोनार जी का दावा

अरविंद सोनार जी का कहना है कि कोरोना की दूसरी डोज़ लगवाने के बाद उनके शरीर में चुंबकीय शक्ति आ गई है, जिसके कारण उनके शरीर पर स्टील की चीजे चिपक रहे है, अब उनका शरीर चुंबक की तरह काम कर रहा है.

अपने दावे की सच्चाई साबित करने के लिए अरविंद सोनार जी ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो पोस्ट किया है जिसमें उनके शरीर पर सिक्के और लोहे / स्टील के चीजे चिपकी नजर आ रही हैं. यहां क्लिक करके आप वह विडियो देख सकते है.

 

क्या ऐसा संभव है, इसमें डॉक्टरों का क्या कहना है?

नासिक जिले के सिविल सर्जन डॉक्टर अशोक थोरात का कहना है कि शरीर में अचानक चुंबकीय शक्ति (Magnetic force) पैदा होना और शरीर पर स्टील की चीजे चिपकना शोध का विषय है, लेकिन मैं यह दावा खारिज करता हूं कि ऐसा वैक्सीनेशन की वजह से ऐसा हो रहा है.

इसके अलावा इस बारे में ‘बीबीसी मराठी’ ने अंधश्रद्धा निर्मूलन समिति के डॉक्टर हामिद दाभोलकर से बात की, तो उनका कहना है कि शरीर से सिक्के एवं बर्तन का चिपकना भौतिकी के नियम के मुताबिक मुमकिन है, अगर त्वचा में नमी हो और चिपकने की जगह पर वैक्यूम कैविटी बने तो यह संभव है. लेकिन इसे टीकाकरण से जोड़ना सही नहीं है, हमारे साथ काम करने वाले लोग कई बार ऐसे दावों का सच सामने ला चुके हैं.

इसके अलावा जेजे मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. तात्यारावे लहाने ने भी अरविंद सोनार जी के इस दावे को ख़ारिज किया है, इसके अलावा इस बारे में  डॉक्टर नागरगोजे का कहना है कि वैक्सीन लेने का और चुंबकीय शक्तियां पैदा होने का कोई कनेक्शन नहीं है.

इस बारे में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के सदस्य समीर चंद्राराते ने कहा, “इसका कोविड वैक्सीन से कोई लेना देना नहीं है. वैक्सीन लेने से दर्द और बुख़ार हो सकता है, लेकिन इस दावे को वैक्सीन से नहीं जोड़ा जा सकता.

इस बारे में RYK साइंस कॉलेज के फिजिक्स डिपार्टमेंट में फिजिक्स के असिस्टेंट प्रोफेसर प्रवीन जोशी का कहना है कि अभी इस पर कमेंट करना मुश्किल है कि किसी के शरीर में वैक्सीन की वजह से ऐसा हो रहा है या नहीं. हमें किसी भी नतीजे पर पहुंचने से पहले पूरा अध्ययन करना पड़ेगा.

दोस्तों, इस बारे में अधिकतर डॉक्टरों का कहना है कि वैक्सीन की वजह से ऐसा होना संभव् ही नहीं है. साथ ही नासिक के ज़िला चिकित्साधिकारी डॉ. अशोक थोराट ने यह भी कहा कि हम इस मामले को जाँच के लिए विशेषज्ञों को भेज रहे हैं, इसके बाद सरकार को अपनी रिपोर्ट देंगे, फिर सरकारी निर्देश के मुताबिक इस मामले को देखा जाएगा.

 

रिसर्च के अनुसार..

इस बारे में इंटरनेट पर हमने थोडा रिसर्च किया, तो हमें दैनिक भास्कर का एक लेख मिला, जिसका टॉपिक था ‘चुंबक बन गया है इस आदमी का शरीर” तो हमने उसे पढ़ा जिसमे हमें निम्नलिखित जानकारी मिली, जो इस मामले से सबंधित है.

दोस्तों, आज से पाच साल पहले सागर जिले के ग्राम ढाना निवासी अरूण रायकवार के शरीर में भी इस तरह की मैग्नेटिक पावर आई थी. यानी उनके भी शरीर में अचानक चुंबकीय शक्ति पैदा हो गई थी.

उस पर बरकतउल्ला विश्वविद्यालय में इलेक्ट्रॉनिक डिपार्टमेंट के हेड डॉ नीरज गौर ने बताया कि यह कोई बड़ा मामला नहीं है. ऐसा किसी भी इंसान के साथ निम्नलिखित दो कारण से होता है.

पहला कारण- मानव शरीर में खून के चार खास घटक होते हैं. इनमें लाल कोशिकाएं, श्वेत कोशिकाएं, प्लेटलेट्स और प्लाज्मा शामिल है. खून में जब प्लेटलेट्स की मात्रा बढ़ जाती है, तो ऐसा होता है.

दूसरा कारण जहां भी वह व्यक्ति रह रहा हो, वहां का अर्थिंग पावर बहुत स्ट्रांग हो. ये भी संभव है कि उसके आस-पास के वातावरण में चुंबकीय तत्व ज्यादा हो, जिसकी वजह से ऐसा होना संभव है.


 

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